वक़्त के साथ रुतें बदल जाती हैं..
25.03.2012
वक़्त के साथ रुतें बदल जाती हैं.. गलियां बदल
जाती हैं.. घर बदल जाते हैं.. शहर बदल.. जाते हैं.. रस्ते बदल
जाते हैं.. सफ़र बदल जाते हैं.. मंजिलें... बदल जाती हैं... ... शायद
इंसान भी बदल जाते हैं....छी :.........छी :
---- शाहिद "अजनबी"
---- शाहिद "अजनबी"
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