ऐ दोस्त ! चल छोड़ यार
14.05.2014
ऐ दोस्त !
चल छोड़ यार
कहीं और चलते हैं
सियासत से दूर
बरगद की छाँव में
बचपन के गाँव में
कहीं और चलते हैं
सियासत से दूर
बरगद की छाँव में
बचपन के गाँव में
दौड़ते- दौड़ते लग जाए
फिर कोई काँटा
और निकालने को आये
मेरा सबसे अजीज़ यार
फिर कोई काँटा
और निकालने को आये
मेरा सबसे अजीज़ यार
- शाहिद 'अजनबी'
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